रायपुर, छत्तीसगढ़ में बढ़ते सामाजिक अपराधों और नशे की गिरफ्त में युवाओं के बढ़ते मामले पर गृहमंत्री ने नाराजगी जताई है। गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू ने अधिकारियों को फटकार लगाते हुए इस पर जल्द से जल्द नियंत्रण करने का आदेश दिया है।

मिली जानकारी के मुताबिक अब अगर किसी थाना इलाके में सट्टा या नशा की शिकायत आती है, तो उस शिकायत की प्रारंभिक गोपनीय जांच में तस्दीक कर तत्काल उस इलाके के थाना प्रभारी को निलंबित कर दिया जाएगा। इतना ही नहीं जिले के एसपी को भी उस मामले को लेकर नोटिस थमाया जाएगा। उन्हें चेतावनी दी जाएगी। जिसके बाद मामले की जांच होगी।

इस मसले पर कानूनी प्रारूप को तैयार करने के लिए कई घंटों तक गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू महकमे के अधिकारियों के साथ लगातार ख़ाका तैयार करने  माथापच्ची में जुटे रहे।बाकायदा उनकी नज़र लगातार प्रोग्रेस रिपोर्ट पर भी है। काफ़ी मंथन के बाद यह फैसला लिया गया है कि अगर किसी भी थाना इलाके में नशा और सट्टे की शिकायत मिलती है। तो सबसे पहले थाना प्रभारी को दोषी माना जाएगा और तात्कालिक तौर पर उसे निलंबित कर दिया जाएगा। इसके पीछे तर्क दिया गया है कि थाना प्रभारी के बगैर जानकारी के सट्टा चलना संभव नहीं है। ऐसे में सबसे पहले थाना प्रभारी को ही दोषी माना जाएगा और उस पर तत्काल कार्रवाई होगी।

हम आपको बता दें कि छत्तीसगढ़ के कई थाना इलाकों में सट्टा और नशा समेत कई तरह के गंभीर अपराध के मामले दर्ज होते रहे हैं। लगातार ये आंकड़ा बढ़ रहा है। गृह विभाग की फ़ज़ीहत भी लगातार बढ़ती दिख रही है। ऐसे में सट्टा खिलाने वालों और नशे का व्यापार करने वालों पर तो पुलिस शिकंजा कसती है, पर संबंधित पुलिस कर्मचारियों और अधिकारियों पर कार्रवाई नहीं होती थी। ऐसे में छत्तीसगढ़ सरकार ने फैसला लिया है कि जिस इलाके में सट्टे का कारोबार होगा या जिस इलाके में नशे की सामग्री बेची जाएगी। शिकायत के बाद उस इलाके के थाना इंचार्ज को सबसे पहले निलंबित किया जाएगा। साथ ही आरोपियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। पुलिस अधीक्षक को भी नोटिस थमाया जाएगा और उन्हें वार्निंग भी दी जाएगी।

इसके पीछे सरकार का तर्क यह है कि नशे से भविष्य लगातार तबाह हो रहे हैं। ऐसे में नशे पर अंकुश लगाने के लिए सरकार एक बड़ा कदम माना जा रहा है।जानकारी के मुताबिक आगामी स्वतंत्रता दिवस के तुरंत बाद ही इस नियम को थाना इलाके में लागू कर दिया जाएगा और सख्ती से पालन करने हेतु गृह विभाग द्वारा पुलिस अधीक्षकों को भी निर्देश जारी किए जा रहे हैं।

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